बेटा याद रखो कि मेरी इस वसीयत से जिन चीज़ों की तुम्हें पाबन्दी करना है उन में सब से ज़ियादा मेरी नज़र में जिस चीज़ की अहमीयत है वह अल्लाह का तक़वा है।
2.
मैं तुम्हें वसीयत करता हूं कि अल्लाह से डरते रहना, उस के अहकाम की पाबन्दी करना, उस के ज़िक्र से कल्ब को आबाद रखना, और उसी की रस्सी को मज़बूती से तामे रहना।